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महुआ माजी कथा (यू.के.) व डॉ. गौतम सचदेव पद्मानंद साहित्य सम्मान से अलंकृत
कथा (यू.के.) के मुख्य सचिव एवं प्रतिष्ठित कथाकार श्री तेजेंद्र शर्मा ने लंदन से सूचित किया है कि वर्ष 2007 के लिए अंतर्राष्ट्रीय इंदु शर्मा कथा सम्मान नवोदित और समर्थ उपन्‍यासकार सुश्री महुआ माजी को राजकमल प्रकाशन से 2006 में प्रकाशित उपन्यास 'मैं बोरिशाइल्‍ला' पर देने का निर्णय लिया गया है। इस पुरस्कार के अंतर्गत दिल्ली - लंदन - दिल्ली का आने जाने का हवाई यात्रा का टिकट (एअर इंडिया द्वारा प्रायोजित) एअरपोर्ट टैक्स़, इंगलैंड के लिए वीसा शुल्क़, एक शील्ड, शॉल, लंदन में एक सप्ताह तक रहने की सुविधा तथा लंदन के ख़ास-ख़ास दर्शनीय स्थलों का भ्रमण आदि शामिल होंगे। यह सम्मान सुश्री महुआ माजी को लंदन के हाउस ऑफ लॉर्ड्स में 20 जुलाई 2007 की शाम को एक भव्य आयोजन में प्रदान किया जाएगा। पिछले वर्ष श्री असग़र वजाहत किसी भी भारतीय भाषा के लिए हाउस ऑफ लॉर्ड्स में सम्‍मानित होने वाले पहले भारतीय लेखक थे।

इंदु शर्मा मेमोरियल ट्रस्ट की स्थापना संभावनाशील कथा लेखिका एवं कवयित्री इंदु शर्मा की स्मृति में की गई थी। इंदु शर्मा का कैंसर से लड़ते हुए अल्प आयु में ही निधन हो गया था। अब तक यह प्रतिष्ठित सम्मान सुश्री चित्रा मुद्गल, सर्वश्री संजीव, ज्ञान चतुर्वेदी, एस.आर. हरनोट, विभूति नारायण राय, प्रमोद कुमार तिवारी और असग़र वजाहत को प्रदान किया जा चुका है।
सुश्री महुआ माजी ने बांग्‍ला देश के मुक्ति संग्राम की पृष्‍ठभूमि पर लिखे अपने पहले ही उपन्‍यास से हिंदी जगत में शिद्दत से अपनी उपस्थिति दर्ज़ कराई है। समाज शास्‍त्र की गंभीर अध्‍येता महुआ समाजशास्‍त्र में पीएच.डी. हैं और उन्‍होंने रवींद्र विश्‍वविद्यालय से फाइन आर्ट्स में अंकन विभाकर की डिग्री ली है। उनकी कई कहानियाँ विभिन्‍न पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित हो चुकी हैं। 'मैं बोरिशाइल्‍ला' का अंग्रेज़ी और बांग्ला में अनुवाद हो रहा है। इस उपन्यास को सभी पाठकों और समीक्षकों की भरपूर प्रशंसा मिली है।

वर्ष 2007 के लिए पद्मानंद साहित्य सम्मान डॉ. गौतम सचदेव को उनके कहानी संग्रह 'साढ़े सात दर्जन पिंजरे' (2005 – वाणी प्रकाशन) के लिए दिया जा रहा है। डॉ. गौतम सचदेव का जन्म मंडी वारबर्टन, शेख़ुपुरा (अब पाकिस्तान) में हुआ था और उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय से एम.ए. एवं पीएच.डी. तक शिक्षा प्राप्त की। उनकी प्रकाशित रचनाओं में अधर का पुल, एक और आत्म समर्पण (दोनों कविता संग्रह), सच्चा झूठ (व्यंग्य संग्रह), बूँद बूँद आकाश (ग़ज़ल संग्रह), प्रेमचंद – कहानी शिल्प (शोध प्रबंध) आदि शामिल हैं। इससे पूर्व इंगलैंड के प्रतिष्ठित हिंदी लेखकों क्रमश: डॉ सत्येंद्र श्रीवास्तव, सुश्री दिव्या माथुर, श्री नरेश भारतीय, भारतेंदु विमल, डॉ.अचला शर्मा, उषा राजे सक्‍सेना और गोविंद शर्मा को पद्मानंद साहित्य सम्मान से सम्मानित किया जा चुका है।

कथा यू.के. परिवार उन सभी लेखकों, पत्रकारों, संपादकों मित्रों और शुभचिंतकों का हार्दिक आभार मानते हुए उनके प्रति धन्यवाद ज्ञापित करता है जिन्होंने इस वर्ष के पुरस्कार चयन के लिए लेखकों के नाम सुझा कर हमारा मार्गदर्शन किया और हमें अपनी बहुमूल्य संस्तुतियाँ भेजीं।

सूरज प्रकाश :
भारत में कथा यू.के. के प्रतिनिधि
 

24 मई2007

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