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             ° कहानियों  में मानिला गांव अल्मोड़ा जनपद में छः हज़ार फीट की ऊंचाई पर घनी पहाड़ियों के बीच स्थित है। मैदान से जाने पर कौर्बेट नेशनल पार्क के बाहर स्थित रामनगर कस्बे से सघन वन प्रारंथ हो जाता है। फिर गरजिया, जहां से कौर्बेट पार्क का प्रवेश द्वार है, होते हुए मोहान पड़ता है। मोहान से मुख्य मार्ग छूट जाता है और बायीं ओर की पतली सड़क पर चलना पड़ता है। यहां से ऊंचाई प्रारंभ हो जाती है, और लगभग साठ किलोमीटर की निर्जन पहाड़ी यात्रा के उपरांत चीड़ एवं बांझ के वनों से घिरा गांव मानीला आता है। बस से उतरने पर बायीं ओर बनी पक्की दूकानों और छोटेछोटे घरों को देखकर एक कस्बे जैसा भान होता है। °° | इस
              सप्ताह
               अपनी जड़ों की पहचान की जिज्ञासा भी कोई नयी बात तो नहीं। हां वह सिर्फ़ संवेदनशील युवकयुवतियों में ही होती है। और अनन्या की संवेदनशीलता तो उसके चेहरे से ही झलक जाती थी . . .बहुत कोमल, खूब घनी सांवली त्वचा और गहरीगंभीर बेहद इंटेंस आंखें। देखने में बहुत सुंदर नहीं थी पर उन आंखों की शिद्दत और त्वचा के सांवलेपन में एक तरह की लुनाई उसे बहुत आकर्षक बना देती थी। बहुत मतलब के सवाल पूछती थी और फालतू बात एकदम नहीं। फिर भी भारतीय मूल के अन्य अमेरीकी विद्यार्थियों से कुछ अलग नहीं दीखती थी वह . . .उन्हीं की तरह अमरीकी पहनावा, तौरतरीके, बातचीत का लहजा और खुशमिज़ाज़। °       
      हास्य व्यंग्य में ° आज
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